देवबन्द : विहिप अब सरकारी अधिग्रहण मंदिरों को मुक्त कराने की तैयारी में है विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे ने बताया कि देश के लगभग चार लाख मंदिरों पर राज्य सरकारों द्वारा जो कब्जा किया हुआ है उसको मुक्त कराने का अभियान युद्ध स्तर पर चलाया जाएगा उन्होंने सभी राज्यों की सरकारों से देश के सभी मठ मंदिरों को सरकारी नियंत्रण से मुक्त करने की अपील की उन्होंने कहा कि जल्द ही इस मुद्दे पर राज्य सरकारों से वार्ता की जाएगी और उनसे बात की जाएगी कि जल्द से जल्द सरकारी नियंत्रण से मंदिरों को मुक्त किया जाए

वही बजरंग दल नेता विकास त्यागी ने उत्तराखंड भास्कर से बातचीत करते हुए बताया कि दानदाताओं द्वारा मठ मंदिरों को दी गई जमीनों का उपयोग दूसरे कार्यों में किया जा रहा है जबकि समाज हित में इसका कोई लाभ नहीं हो रहा है आरएसएस के अखिल भारतीय सह प्रचार प्रमुख नरेंद्र ठाकुर सहित कई अन्य संगठनों ने ट्वीट कर विश्व हिंदू परिषद की इस पहल का समर्थन किया भारत के कई अन्य संगठनों ने कहा कि यह मंदिर हर हाल में सरकारी नियंत्रण से मुक्त होने चाहिए जिसका लाभ समाज के स्तर से संचालन होना चाहिए मंदिर में आए धन का उपयोग सामाजिक कार्यों में होना चाहिए.

आपको बता दें देश के अंदर ऐसे कई बड़े मंदिर है जो सरकारी नियंत्रण के अंतर्गत चल रहे हैं जिनका 85 फ़ीसदी हिस्सा सरकार अपने खाते में जमा करती है लेकिन जो जमा राशि सरकार के खाते में होती है उससे मंदिरों के लाभ के लिए मंदिर के फायदे के लिए कोई भी कार्य नहीं किए जाते हालांकि देश के कई ऐसे बड़े मंदिर है जिन का बड़ा हिस्सा सरकारी खजाने में जमा होता है । जिन को सरकारी नियंत्रण से मुक्त करना बहुत जरूरी है जिससे आम जनता को इसका लाभ पहुंच सके
उपनल कार्मिकों की समस्याओं के निराकरण के लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में उप समिति गठित
[…] चार लाख मंदिरों को सरकारी अधिग्रहण से … […]